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बरेली में लगी ‘दिव्यांग न्याय की अदालत’, मोबाइल कोर्ट में सीधे सुनी गई फरियादें

बरेली। राज्य आयुक्त दिव्यांगजन हिमांशु शेखर झा की अगुवाई में बरेली के सर्किट हाउस में मोबाइल कोर्ट का आयोजन किया गया, जहां जिले भर से पहुंचे दिव्यांगजनों की समस्याएं सीधे सुनी गईं और तत्काल निस्तारण के निर्देश भी दिए गए। सुबह 10 बजे शुरू हुई यह अनूठी अदालत शाम 4 बजे तक चली, जिसमें दिव्यांगजन बड़ी संख्या में पहुंचे और अपनी समस्याएं एक-एक कर सामने रखीं।राज्य आयुक्त हिमांशु शेखर झा ने जिला स्तरीय अधिकारियों को मौके पर ही निर्देशित किया कि हर शिकायत का तय समय में समाधान सुनिश्चित करें। इस दौरान अधिकारी भी कोर्ट में मौजूद रहे और तमाम योजनाओं से जुड़ी जानकारी भी दी गई।हिमांशु शेखर झा बोले दफ्तर नहीं आ सकते, इसलिए हम उनके पास आए हैंमीडिया से बातचीत में राज्य आयुक्त दिव्यांगजन हिमांशु शेखर झा ने बताया28 जुलाई से हम मोबाइल कोर्ट चला रहे हैं। पहले शाहजहांपुर, फिर बदायूं और आज बरेली पहुंचे हैं। हमारी सोच साफ है जो दिव्यांग साथी लखनऊ स्थित मुख्यालय तक नहीं पहुंच सकते, उनकी समस्याएं वहीं जाकर सुनना हमारा कर्तव्य है।उन्होंने बताया कि इस मोबाइल कोर्ट का प्रचार-प्रसार मंडल स्तर के अधिकारियों, विशेषकर दिव्यांगजन सशक्तिकरण अधिकारियों और डिप्टी डायरेक्टर्स के माध्यम से किया जाता है, ताकि अधिक से अधिक जरूरतमंद इसकी जानकारी पा सकें और अपनी समस्या रख सकें।सरकारी योजनाओं पर भी हुआ फोकस मोबाइल कोर्ट में न सिर्फ शिकायतें सुनी गईं बल्कि दुकान योजना, शादी विवाह योजना समेत कई योजनाओं की जानकारी भी दी गई। कम ब्याज पर लोन, सामाजिक सहायता व अन्य लाभों की प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए दिव्यांग सशक्तिकरण अधिकारियों को दिशा-निर्देश दिए गए।दिव्यांगजन अपने अधिकारों के प्रति जागरूक हों राज्य आयुक्त ने अपील की कि हर दिव्यांगजन अपने जिले के सशक्तिकरण अधिकारी से निरंतर संपर्क में रहें और योजनाओं का लाभ उठाएं। उन्होंने यह भी कहा कि संबंधित अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि एक भी पात्र व्यक्ति योजना से वंचित न रहे।

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